श्रम विभाग, एवं अन्य निर्माण श्रमिक कल्याण मंडलों द्वारा पंजीकृत निर्माण श्रमिकों के कल्याण हेतु सरकार द्वारा अनेक योजनाएं चलाई जा रही है। इनमें संत रविदास शिक्षा सहायता योजना अत्यंत महत्वपूर्ण है। इस योजना के माध्यम से मजदूर अपने बच्चों को बेहतर शिक्षा देकर अपना भविष्य सुधार सकते हैं।
निर्माण श्रमिकों के कई बच्चे अपनी पढ़ाई छोड़ देते हैं और अपने परिवार की आर्थिक स्थिती के कारण कम उम्र में काम करना शुरू कर देते हैं। वे शैक्षिक खर्च वहन करने में सक्षम नहीं है जो आजकल बढ़ रहा है। ऐसे बच्चो की मदद के लिए उत्तर प्रदेश सरकार संत रविदास शिक्षा सहायता योजना नाम से एक योजना लेकर आई है।
NOTE:- मज़दूरों की बेटियों को साइकिल बांटी जाएगी। संत रविदास शिक्षा सहायता योजना के तहत उन लड़कियों को साइकिल दी जाएगी जो दसवीं और बारहवीं कक्षा में प्रवेश लि है।
यूपी संत रविदास शिक्षा सहायता योजना क्या है?
श्रमिकों और उनके बच्चों को आर्थिक तंगी के कारण अतीत में या फिर वर्तमान में कई समस्याओं का सामना करना पड़ा है। इसी को ध्यान में रखते हुए उत्तर प्रदेश सरकार ने 1 मई 2017 को मजदूर दिवस के अवसर पर संत रविदास शिक्षा सहायता योजना शुरू की है।
उत्तर प्रदेश श्रम विभाग द्वारा श्रमिक दिवस पर प्रदेश के श्रमिक वर्ग को तोहफे के रूप में संत रविदास शिक्षा सहायता योजना नाम की एक नई योजना शुरू की गई है।
संत रविदास शिक्षा सहायता योजना का उद्देश्य
Sant Ravidas Shiksha Sahayata Yojana का मुख्य उद्देश्य श्रमिक बालक / बालिकाओं को आर्थिक सहायता प्रदान करना है। जिससे उनकी शिक्षा में कोई भी बाधा ना पड़े और वह अपनी शिक्षा स्कूल से लेकर विश्वविद्यालय तक लगातार करते रहे।
इस योजना के अंतर्गत ₹100 से लेकर ₹5000 तक की आर्थिक सहायता राशी प्रदान की जाती है। इस योजना के माध्यम से बेरोजगारी दर में भी गिरावट आने की संभावना अधिक है। क्योंकि उत्तर प्रदेश के बच्चे बिना किसी बाधा के पढ़ाई करेंगे तो उन्हें रोजगार के अवसर प्राप्त होगा।
संत रविदास शिक्षा सहायता योजना की सहायता राशि
कक्षा 1 से 5 तक | ₹100 – प्रतिमाह |
कक्षा 6 से 8 तक | ₹150 – प्रतिमाह |
कक्षा 9 से 10 तक | ₹200 – प्रतिमाह |
कक्षा 11 और 12 | ₹250 – प्रतिमाह |
आईटीआई एवं समक्ष परीक्षण से संबंधित पाठ्यक्रम के लिए | ₹500 – प्रतिमाह |
पॉलिटेक्निक एवं समक्ष पाठ्यक्रमों के लिए | ₹800 – प्रतिमाह |
इंजीनियरिंग एवं समक्ष पाठ्यक्रमों के लिए | ₹3000 – प्रतिमाह |
मेडिकल पाठ्यक्रमों के लिए | ₹5000 – प्रतिमाह |
संत रविदास शिक्षा सहायता योजना के लिए पात्रता मानदंड
- आवेदक को उत्तर प्रदेश का स्थायी निवासी होना अनिवार्य है।
- आवेदक के माता या पिता बोर्ड में पंजीकृत एक निर्माण श्रमिक हो।
- लाभार्थी पंजीकृत निर्माण श्रमिक उत्तर प्रदेश राज्य के मूल निवासी हो।
- आवेदक की आयु 25 वर्ष या उससे कम होनी चाहिए।
- श्रमिक के पुत्र या पुत्रियां सरकार द्वारा विधिवत स्थापित शिक्षा बोर्ड द्वारा मान्यता प्राप्त शैक्षणिक संस्थान में पढ़ रहे हो।
- पंजीकृत निर्माण श्रमिकों के अधिकतम दो बच्चों को उच्च शिक्षा के लिए छात्रवृत्ति कक्षा एक से प्रारंभ कर दी जानी है।
संत रविदास शिक्षा सहायता योजना के लिए आवश्यक दस्तावेज
- आधार कार्ड ( Aadhar card)
- पासपोर्ट साइज की फोटो ( Passport size photo)
- आय प्रमाणपत्र ( Income certificate)
- स्कूल का प्रमाणपत्र ( School certificate)
- बैंक पास बुक ( Bank passbook)
- माता पिता का श्रमिक कार्ड ( Parent’s labor card)
- निवास प्रमाण पत्र ( Residence certificate)
- अंकसूची ( Marksheet )
संत रविदास शिक्षा सहायता योजना में आवेदन कैसे करे
- सबसे पहले अपने नजदीकी लेबर ऑफिस या तहसीलदार ऑफिस में जाएँ।
- इसके पश्चात Sant Ravidas Shiksha Sahayata Yojana से सम्बंधित आवेदन पत्र प्राप्त करे।
- आवेदन पत्र में पूछी गई सभी जानकारी ध्यान पूर्वक भरे।
- रजिस्ट्रेशन फॉर्म के साथ सभी महत्वपूर्ण दस्तावेजों को अटैच करे।
- आवेदन पत्र लेबर ऑफिस या तहसीलदार ऑफिस में जमा करे।
- इस प्रकार आप संत रविदास शिक्षा सहायता योजना में सफलतापूर्वक आवेदन कर पाएंगे।
शिकायत दर्ज करें
- इस योजना के लिए आवेदन लेने के लिए छात्रों को भवन एवं अन्य निर्माण श्रमिक कल्याण बोर्ड श्रम विभाग, उत्तर प्रदेश सरकार की आधिकारिक वेबसाइट पर जाना होगा।
- पोर्टल के होम पेज से आपको मेन्यु वार में उपलब्ध ‘हमसे संपर्क करें’विकल्प पर जाना होगा।
- शिकायत अनुभाग के तहत शिकायत पंजीकरण पर क्लिक करें।
- एक नया आवेदन फॉर्म खुल जाएगा।
- आवेदन पत्र का विवरण दर्ज करें और सबमिट विकल्प पर क्लिक करें।
संत रविदास शिक्षा सहायता योजना लाभों के संबंध में सामान्य निर्देश
- छात्र ( Student) :- छात्र को तिमाही आधार पर भुगतान किया जाएगा, पहली किस्त का भुगतान कक्षा में प्रवेश के बाद किया जाएगा।
- यदि कोई छात्र वार्षिक परीक्षा में अनुत्तीर्ण हो जाता है और उसी कक्षा में फिर से पढ़ता है, तो वह छात्रवृत्ति के लिए पात्र नहीं होगा।
- आईटीआई पॉलिटेक्निक इंजीनियरिंग डिग्री ( ITI Polytechnic Engineering Degree) :- इस लाभ के लिए केवल वही छात्र पात्र होंगे, जिन्हें सरकारी आईटीआई पॉलिटेक्निक या इंजीनियरिंग कॉलेज, मेडिकल कॉलेज मैनेजमेंट कॉलेज में प्रवेश मिलेंगे। प्रमाण के रूप में प्रवेश पत्र और शुक्ल रसीद संकलन करनी होगी।
- व्यावसायिक पाठ्यक्रमों में पात्रता तभी मान्य होगी जब उम्मीदवार ने राष्ट्रीय या राज्य स्तर की प्रवेश परीक्षा उत्तीर्ण की हो और सरकारी संस्थान में प्रवेश लिया हो।
- संत रविदास शिक्षा सहायता योजना केवल वही छात्र लाभ उठा पाएंगे जो सरकारी कॉलेजों में पढ़ रहे हो।